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अमानत बराज विस्थापितों को 15 फरवरी तक मिलेगा मुआवजा, पहले चरण में 13 हजार हेक्टेयर में होगी सिंचाई

पलामू के अमानत बराज परियोजना से जुड़े विस्थापितों के लिए राहत की खबर है। राज्य के वित्त मंत्री राधाकृष्ण किशोर ने घोषणा की है कि विस्थापित ग्रामीणों को 15 फरवरी तक मुआवजा प्रदान किया जाएगा। इस प्रक्रिया को तेज़ करने के लिए 30, 31 जनवरी और 1 फरवरी को विशेष शिविर आयोजित किए जाएंगे। इन शिविरों में ग्रामीणों की समस्याओं का समाधान और मुआवजा वितरण किया जाएगा।

परियोजना की पृष्ठभूमि

2003 में शुरू हुए अमानत बराज परियोजना का निर्माण विस्थापन और मुआवजे से जुड़े विवादों के कारण लंबे समय से अधूरा पड़ा था। इस परियोजना के पूर्ण होने पर पलामू के पांकी, तरहसी, लेस्लीगंज और पाटन इलाकों में सिंचाई सुविधा उपलब्ध होगी।

निरीक्षण और दिशा-निर्देश

वित्त मंत्री राधकृष्ण किशोर की अगुवाई में जल संसाधन विभाग के सचिव श्री प्रशांत कुमार, मुख्य अभियंता श्री विजय शंकर, और पलामू के डीसी शशि रंजन समेत कई अधिकारियों ने परियोजना स्थल का निरीक्षण किया। इस दौरान अधिकारियों को मुआवजा वितरण और अन्य विवाद निपटाने के स्पष्ट निर्देश दिए गए।

सिंचाई का लाभ

परियोजना के पहले चरण में 13 हजार हेक्टेयर क्षेत्र में सिंचाई की सुविधा उपलब्ध कराई जाएगी। आगे चलकर इस परियोजना से और अधिक क्षेत्र को लाभान्वित करने की योजना है।

यह परियोजना न केवल सिंचाई की समस्या को हल करेगी बल्कि ग्रामीणों के आर्थिक और सामाजिक विकास में भी अहम भूमिका निभाएगी।

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